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चारधाम यात्रा को लेकर उत्तराखंड हाई कोर्ट का बड़ा फैसला, पढ़े पूरी खबर

Uttarakhand High Court's big decision has come regarding Dehradun-Chardham Yatra. Let us tell you that the Uttarakhand High Court has banned the Char Dham Yatra to be held in the state till June 22. Along with this, the court has asked the tourism secretary to make new rules by holding an online meeting, rejecting the argument of the Chief Minister and other officials being out of the state. According to the information, a division bench of Chief Justice Ravindra Singh Chauhan and Justice Alok Kumar Verma asked Tourism Secretary Dilip Jawalkar to file a detailed affidavit after the online hearing. At the same time, along with giving information about the preparations of Chardham, the court has talked about giving information about the flaws found during the inspection done by them. At the same time, taking information about the number of police personnel deployed for the Chardham Yatra, the High Court also asked the question whether the route would be sanitized during the Chardham Yatra or not? In such a situation, the petitioner said that last year i.e. in 2020, 3 lakh 10 thousand 568 devotees had gone to the Chardham for darshan, but this time the situation of Corona is more terrible, in view of which the government needs to take care of better health facilities.

देहरादून – चारधाम यात्रा को लेकर उत्तराखंड हाई कोर्ट का बड़ा फैसला आया है । आपको बता दें, कि  उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने राज्य में होने वाली चार धाम यात्रा पर आगामी 22 जून तक के लिए रोक लगा दी है । इसके साथ ही न्यायालय ने पर्यटन सचिव के मुख्यमंत्री सहित अन्य अधिकारियों के राज्य से बाहर होने के तर्क को नकारते हुए ऑनलाइन मीटिंग कर नई नियमावली बनाने को कहा है ।

जानकारी के अनुसार मुख्य न्यायाधीश रविन्द्र सिंह चौहान और न्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा की खंडपीठ ने ऑनलाइन सुनवाई के बाद पर्यटन सचिव दिलीप जावलकर को विस्तृत सपथपत्र दाखिल करने को कहा। वहीं न्यायालय ने चारधाम की तैयारीयों की जानकारी देने के साथ ही , उनके  द्वारा किये गए निरीक्षण के दौरान पाई गई खामियों की जानकारी देने की बात कहीं है ।वहीं चारधाम यात्रा के लिए तैनात पुलिस जवानों की संख्या की जानकारी लेते हुए उच्च न्यायालय ने ये सवाल भी पूछा कि चारधान यात्रा के दौरान मार्ग को सैनिटाइज किया जाएगा या नहीं ? ऐसे में याचिकाकर्ता ने बताया कि पिछले साल यानी 2020 में चारधाम में 3 लाख 10 हजार 568 श्रद्धालु दर्शन में गए थे, लेकिन इस बार कोरोना की स्थिति ज्यादा भयानक है जिसको देखते हुए सरकार को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं का ध्यान रखने की जरूरत है।

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