अमेरिका ने की ताइवान की मदद, भेजी 25 लाख कोविड-19 वैक्सीन
संयुक्त राज्य अमेरिका ने शनिवार को घोषणा की कि बीजिंग जो कि ताइवान को अपना क्षेत्र होनो का दावा करता है, वैक्सीन की अस्वीकृति की संभावना के चलते ताइवान को 25 लाख (2.5 मिलियन) कोविड वैक्सीन की खुराक भेजी जा रहा है। दरअसल, ताइवान ने शिकायत की थी कि चीन महामारी के बीच टीकों को प्राप्त करने के उसके प्रयास में बाधा उत्पन्न कर रहा है। ताइवान कोविड-19 रोधी टीके की कमी का सामना कर रहा है और अमेरिका-चीन रिश्तों में ताइवान का भूराजनीतिक महत्व है। चीन ने इस महीने की शुरुआत में रोष व्यक्त किया था, जब अमेरिकी सीनेटरों ने ताइवान का दौरा किया और वाशिंगटन और बीजिंग के बीच तनाव के बीच वैक्सीन दान की घोषणा की थी।
विदेश विभाग के प्रवक्ता नेड प्राइस ने एक ट्वीट में लिखा, ‘कार्रवाई का समय! हमारी तरफ से दी जाने वाली 25 लाख वैक्सीन की खुराक ताइवान के रास्ते में है।’ अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल की ताइवान यात्रा के दौरान घोषित टीकों की संख्या का यह लगभग तीन गुना है। ताइपे ने बीजिंग पर पर्याप्त खुराक हासिल करने के उसके प्रयासों में बाधा डालने का आरोप लगाया है।
गौरतलब है कि चीन की सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी ने कभी भी ताइवान को नियंत्रित नहीं किया है, लेकिन इस द्वीप को चीन अपने क्षेत्र के हिस्से के रूप में देखता है और यदि आवश्यक हुआ तो एक दिन इसे बलपूर्वक जब्त करने की कसम खाई है। बीजिंग ने हाल के वर्षों में ताइवान पर आर्थिक, सैन्य और राजनयिक दबाव डाला है और इसे विश्व स्वास्थ्य संगठन जैसे अंतरराष्ट्रीय निकायों से बाहर रखा है। ऐसे में अमेरिका ताइवान का सबसे बड़ा सहयोगी बना हुआ है, लेकिन वह ताइवान के साथ पूर्ण राजनयिक संबंध नहीं रखता है क्योंकि वह आधिकारिक तौर पर बीजिंग को मान्यता देता है। ताइवान के राष्ट्रपति साई इंग वेन ने ट्विटर पर लिखा, ‘दोस्ती के इस चलते-फिरते संकेत के लिए अमेरिका को धन्यवाद। ये टीके ताइवान को सुरक्षित और स्वस्थ रखने की दिशा में एक लंबा रास्ता तय करेंगे।’बता दें कि जून के पहले सप्ताह में इलिनोई से डेमोक्रेटिक पार्टी की सांसद टैमी डकवर्थ अपने दो अन्य सहयोगियों डेलावेयर से डेमोक्रेटिक पार्टी के क्रिस्टोफर कून्स और अलास्का से रिपब्लिकन पार्टी के सांसद डैन सुलिवन के साथ ताइवान पहुंची थीं। तीनों सांसदों ने ताइवान में करीब तीन घंटे बिताए। उन्होंने कहा कि यह यात्रा लोकतांत्रिक द्वीप के प्रति अमेरिका के दोनों दलों का समर्थन प्रदर्शित करती है।